आज की आधुनिक दुनिया में कोई भी काम मुश्किल नहीं रहा है। वहीं बात रुपयों की करें तो अब लोग ऑनलाइन पेमेंट करके दुनिया के किसी भी कोने में पैसे भेज सकते हैं। इसके लिए लोग प्रीपेड इंस्ट्रूमेंट्स जैसे, वॉलेट या कार्ड के जरिए UPI पेमेंट करते हैं। मगर अब इसे लेकर एक बड़ी खबर सामने आ रही है। बता दें, ये पहले तो बिल्कुल निशुल्क था। मगर अब ट्रांजेशन करने पर फीस भरने की बात सामने आ रही है। चलिेए जानते हैं इसके बारे में विस्तार से...
NPCI ने जारी किया सर्कुलर
इसके लिए (NPCI) यानी नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया ने यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (UPI) को लेकर एक सर्कुलर भेजा है। इसके मुताबिक अब 1 अप्रैल 2023 से यूपीआई से होने वाले मर्चेंड पेमेंट पर पीपीआई चार्ज भरना होगा। ऐसे में इसपर इंटरचेंज लगाने की बात सामने आई है।
2000 से अधिक पेमेंट पर लगेगी इतनी इंटरचेंज फीस
UPI की गवर्निंग बॉडी एनपीसीआई द्वारा जारी किए सर्कुलर के मुताबिक, ऑनलाइन मर्चेंट्स, बड़े व छोटे ऑफलाइन मर्चेंट को किए गए 2,000 रुपए से अधिक ट्रांजैक्शन पर करीब 1.1% इंटरचेंज शुल्क भरना होगा। इसके साथ ही प्रीपेड इंस्ट्रूमेंटजारी करने वाले व्यक्ति को 2,000 से अधिक ट्रांजैक्शन वैल्यू को लोड करने के लिए रमिटर बैंक को करीब 15 बेसिस प्वाइंट्स का भुगतान फीस के तौर पर करना अनिवार्य होगा।
उदाहरण के तौर पर अगर Paytm एक PPIs इश्यूअर, ग्राहक ने 2,500 SBI खाते से पैसा वॉलेट में डालने हैं तो उसे Paytm रेमिटर बैंक SBI को ट्रांजैक्शन लोड करने के लिए 15 bps का भुगतान करना पड़ेगा।
आम ग्राहक पर ऐसा पड़ेगा असर
अब बात आम ग्राहक की करें तो बता दें, इसके लिेए उन्हें राहत है। जी हां, इसके लिए उन्हें किसी भी तरह का कोई शुल्क नहीं भरना होगा। बता दें, बैंक अकाउंट व PPI वॉलेट के बीच पियर-टू-पियर (P2P), पियर-टू-मर्चेंट (P2M) ट्रांजैक्शन पर ये नियम माननीय नहीं है। ऐसे में हम कह सकते हैं कि अगल मैं किसी व्यक्ति या दुकानदार को पेमेंट करुंगा तो इसके लिए मुझे किसी भी तरह की कोई फीस नहीं भरनी पड़ेगी। इसके लिए एनपीसीआई ने आम जनता को राहत दी है।
इन्हें देना होगा शुल्क
मिली जानकारी के अनुसार, वैसे तो इसके लिए 0.5 से 1.1 प्रतिशत इंटरचेंज शुल्क भरने को कहा गया है। मगर इनमें कई मर्चेंट्स को कम फीस भरनी होगी। बता दें, अगर पेट्रोल पंप प्रीपेड इंस्ट्रूमेंट को यूज करते दौरान UPI पेमेंट करने पर इंटरचेंज फीस 0.5% भरनी पड़ेगी। इसके अलावा म्यूचुअल फंड्स, इंश्योरेंस, यूटिलिटीज,एजुकेशन पेमेंट पर विभिन्न इंटरचेंज फीस का भुगतान करना होगा।